Saturday, July 27, 2024

भारतीय स्वतंत्रता संग्राम के महान नेता सुभाष चंद्र बोस।

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‘तुम मुझे खून दो ‘
‘में तुम्हे आजादी दुंगा ‘

सुभाष चंद्र बोस का जन्म 23 जनवरी, 1897 को कटक (अब ओडिशा) में हुआ था। उन्होंने अपनी शिक्षा कोलकाता के प्रेसिडेंसी कॉलेज से प्राप्त की और इंग्लैंड के केम्ब्रिज विश्वविद्यालय से ICS की तैयारी की, लेकिन ब्रिटिश सरकार की नीतियों के खिलाफ़ उनके विचारों के कारण उनकी तैयारी असफल रही।

सुभाष बोस ने गांधीजी के नेतृत्व में कांग्रेस के साथ जुड़कर स्वतंत्रता संग्राम में भाग लिया, परंतु उनकी दृढ़ आत्मा और उनके अलग दृष्टिकोण के कारण वे बाद में कांग्रेस से अलग हो गए और नेताजी के नाम से मशहूर हुए।

नेताजी ने भारतीय स्वतंत्रता सेनानियों को एकजुट करने का प्रयास किया और उन्होंने अपनी आज़ाद हिन्द फौज की स्थापना की, जो भारतीय स्वतंत्रता संग्राम के महत्वपूर्ण हिस्से में बनी।

नेताजी का मानना था कि भारतीय स्वतंत्रता संग्राम के लिए सिर्फ अहिंसा या सत्याग्रह ही काफी नहीं है, वरन् उसके लिए आवश्यक है कि भारतीय सेना की मदद से आज़ादी की प्राप्ति की जाए। उन्होंने जापानी सेना की सहायता प्राप्त करके आज़ाद हिन्द फौज की स्थापना की और उसके साथ बिरयानी स्टेशन पर बहुत बड़े स्वतंत्रता समारोह का आयोजन किया।

सुभाष चन्द्र बोस की मृत्यु कैसे हुई ?

सुभाष चंद्र बोस की मृत्यु के बारे में विभिन्न संदेह हैं। उनकी मौत के कई विभाग हैं, कुछ लोग मानते हैं कि वे 1945 में हुई हवाई दुर्घटना में मारे गए, जबकि कुछ लोग मानते हैं कि वे जापानी सैनिकों के साथ ताइवान में गुप्त रूप से रहे और वहां उनकी मौत हुई। कुछ लोगों का मानना है कि उनका अंतिम समय भारतीय आज़ाद फौज के प्रमुख रूप से सेना की हिस्सेदारी में गुज़रा और उन्होंने बाद में गायब हो गए। किसी भी विषय पर स्पष्ट सबूत नहीं होने की वजह से, बोस जी की मौत के बारे में विभिन्न मत हैं।

सुभाष चंद्र बोस का योगदान ।

सुभाष चंद्र बोस ने भारतीय स्वतंत्रता संग्राम में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई थी। उन्होंने भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के साथ जुड़कर स्वतंत्रता संग्राम की नेतृता की और ब्रिटिश शासन के खिलाफ संघर्ष किया। उन्होंने कई महत्वपूर्ण आंदोलनों और सत्याग्रहों में भाग लिया, जैसे कि “क्विट इंडिया मूवमेंट” और “क्रिप्स मिशन” के विरोध में।

बोस जी ने भारतीय राष्ट्रीय सेना (आज़ाद हिन्द फ़ौज) की स्थापना की, जिसका उद्देश्य ब्रिटिश साम्राज्य के खिलाफ संघर्ष करना था। वे अपनी नेतृत्व में सेना का प्रमुख बने और भारतीय स्वतंत्रता संग्राम के लिए सैन्य अभियानों की योजनाएं बनाई।

बोस जी का योगदान भारतीय स्वतंत्रता संग्राम के इतिहास में महत्वपूर्ण माना जाता है, और उनका संघर्ष भारतीयों के लिए स्वतंत्रता प्राप्ति की दिशा में महत्वपूर्ण कदम था।

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